Monday, May 20"खबर जो असर करे"

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सरकार ने सिर्फ मसूर दाल पर आयात शुल्क छूट एक साल के लिए बढ़ाई

सरकार ने सिर्फ मसूर दाल पर आयात शुल्क छूट एक साल के लिए बढ़ाई

देश, बिज़नेस
- वित्त मंत्रालय ने कहा-केवल मसूर दाल पर आयात शुल्क में छूट की वैधता 31 मार्च, 2025 तक बढ़ाई गई नई दिल्ली (New Delhi)। वित्त मंत्रालय (Finance Ministry) ने स्पष्ट किया है कि केंद्र सरकार (Central government) ने सिर्फ मसूर दाल (only lentils) पर आयात शुल्क छूट (Import duty exemption) की वैधता अवधि 31 मार्च, 2025 तक एक वर्ष के लिए बढ़ाई है, जबकि मीडिया के कुछ वर्गों ने गलती से पाम, सोयाबीन और सूरजमुखी तेलों के लिए कम आयात शुल्क भी 31 मार्च, 2025 तक बढ़ाने की खबर चलाई है। वित्त मंत्रालय ने शनिवार को एक्स पोस्ट पर जारी बयान में कहा कि यह देखने में आया है कि मीडिया के कुछ वर्गों ने गलती से ये रिपोर्ट कर दी है कि सरकार ने पाम, सोयाबीन और सूरजमुखी तेलों के लिए कम आयात शुल्क 31 मार्च, 2025 तक बढ़ा दिया है। मंत्रालय ने यह स्पष्ट किया है कि सरकार ने राजपत्र अधिसूचना संख्या 65/2023-सीमा शुल्क, द...
यूपीआई के जरिए 11 दिसंबर तक 8,572 करोड़ का लेन-देन हुआ: वित्त मंत्रालय

यूपीआई के जरिए 11 दिसंबर तक 8,572 करोड़ का लेन-देन हुआ: वित्त मंत्रालय

देश, बिज़नेस
-यूपीआई लेन-देन एक लाख करोड़ रुपये से बढ़कर 139 लाख करोड़ रुपये पर पहुंचा नई दिल्ली (New Delhi)। देश (Country) में यूनिफाइड पेमेंट्स इंटरफेस (यूपीआई) लेन-देन (Unified Payments Interface (UPI) transactions) का आंकड़ा लगातार नई ऊंचाइयों को छू रहा है। यूपीआई लेन-देन वित्त वर्ष 2017-18 के 92 करोड़ रुपये (Rs 92 crore.) से बढ़कर वित्त वर्ष 2022-23 (financial year 2022-23) में 8,375 करोड़ रुपये (increase to Rs 8,375 crore) हो गया था। इसमें वॉल्यूम के लिहाज से सालाना आधार पर 147 फीसदी की वृद्धि हुई है। चालू वित्त वर्ष 2023-24 के दौरान यूपीआई के जरिए 11 दिसंबर तक 8,572 करोड़ लेन-देन किया जा चुका है। वित्त मंत्रालय ने सोमवार को जारी एक बयान में बताया कि यूपीआई से लेन-देन वित्त वर्ष 2017-18 के 92 करोड़ रुपये से बढ़कर वित्त वर्ष 2022-23 में 8,375 करोड़ हो गया था। इसमें सालाना आधार पर 147 फीसदी क...
वित्त मंत्रालय का सभी व्यापारिक प्रतिष्ठानों को जीएसटी के दायरे में लाने का प्रयास : सीतारमण

वित्त मंत्रालय का सभी व्यापारिक प्रतिष्ठानों को जीएसटी के दायरे में लाने का प्रयास : सीतारमण

देश, बिज़नेस
नई दिल्ली (New Delhi)। केंद्रीय वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण (Finance Minister Nirmala Sitharaman) ने कहा कि वित्त मंत्रालय (Finance Ministry's focus) का ध्यान न केवल वस्तु एवं सेवा कर (जीएसटी) राजस्व बढ़ाने (increasing Goods and Services Tax (GST) revenue) पर है बल्कि सभी व्यापारिक प्रतिष्ठानों को इसके दायरे में लाने के प्रयास भी जारी हैं। सीतारमण ने मंगलवार को गुजरात के वापी में जीएसटी सेवा केंद्र के उद्घाटन के बाद यह बात कही। वित्त मंत्री ने 12 जीएसटी सुविधा केंद्र के लोकार्पण समारोह को संबोधित करते हुए कहा कि इन केंद्रों से व्यापारिक प्रतिष्ठानों को बिना गलती किए जीएसटी पंजीकरण कराने में मदद मिलेगी और उनकी समस्याओं का समाधान होगा। उन्होंने कहा कि जीएसटी संग्रह लगातार बढ़ रहा है। जीएसटी परिषद ने पहले की तुलना में कई वस्तुओं पर टैक्स की दरों को कम कर दिया है। व्यापारियों को पता है ...
दुनिया की सबसे तेज वृद्धि करने वाली अर्थव्यवस्था बना रहेगा भारत: वित्त मंत्रालय

दुनिया की सबसे तेज वृद्धि करने वाली अर्थव्यवस्था बना रहेगा भारत: वित्त मंत्रालय

देश, बिज़नेस
नई दिल्ली (New Delhi)। भारत (India) मजबूत घरेलू बुनियाद (strong domestic foundation) और मुद्रास्फीति (inflation) में नरमी की उम्मीदों के चलते वित्त वर्ष 2023-24 (FY 2023-24) में दुनिया की सबसे तेजी से बढ़ती अर्थव्यवस्था (world's fastest growing economy) बना रहेगा। यह जानकारी वित्त मंत्रालय की आर्थिक समीक्षा रिपोर्ट में दी गई है। वित्त मंत्रालय ने सोमवार को जारी सितंबर की मासिक आर्थिक समीक्षा में रिपोर्ट में कहा कि वित्त वर्ष 2023-24 में दुनिया की सबसे तेजी से बढ़ती अर्थव्यवस्था बना रहेगा। रिपोर्ट में कहा गया है कि फारस की खाड़ी में हालिया घटनाक्रमों से वैश्विक अनिश्चितताएं बढ़ गई हैं। इन घटनाक्रमों से आगे कच्चे तेल के दाम में उछाल आ सकता है। रिपोर्ट के मुताबिक वर्तमान स्तर पर अमेरिकी शेयर बाजारों में गिरावट का जोखिम अधिक है। अगर ऐसा होता है तो इसका प्रभाव दुनिया अन्य बाजारों पर भी पड...
शुद्ध प्रत्यक्ष कर संग्रह 22 फीसदी बढ़कर 9.57 लाख करोड़ रुपये : वित्त मंत्रालय

शुद्ध प्रत्यक्ष कर संग्रह 22 फीसदी बढ़कर 9.57 लाख करोड़ रुपये : वित्त मंत्रालय

देश, बिज़नेस
- सकल प्रत्यक्ष कर संग्रह भी 17.95 फीसदी उछलकर 11.07 लाख करोड़ रुपये रहा नई दिल्ली (New Delhi)। चालू वित्त वर्ष 2023-24 (Current financial year 2023-24) में 09 अक्टूबर तक सकल प्रत्यक्ष कर संग्रह (Gross direct tax collection) 11.07 लाख करोड़ रुपये (Rs 11.07 lakh crore) रहा है। यह पिछले वित्त वर्ष की समान अवधि के सकल कर संग्रह से 17.95 फीसदी अधिक है। वहीं, रिफंड जारी करने के बाद शुद्ध प्रत्यक्ष कर संग्रह 21.82 फीसदी (21.82 percent increase) बढ़कर 9.57 लाख करोड़ रुपये (Rs 9.57 lakh crore) पर पहुंच गया है, जो बजट अनुमान का 52.50 फीसदी है। वित्त मंत्रालय ने मंगलवार को जारी एक बयान में बताया कि वित्त वर्ष 2023-24 में 09 अक्टूबर तक सकल प्रत्यक्ष कर संग्रह 17.95 फीसदी उछलकर 11.07 लाख करोड़ रुपये रहा है। मंत्रालय के मुताबिक एक अप्रैल से 09 अक्टूबर, 2023 के दौरान 1.50 लाख करोड़ रुपये रिफंड जारी ...
वित्त मंत्रालय को चालू वित्त वर्ष में 6.5 फीसदी की आर्थिक वृद्धि दर का भरोसा

वित्त मंत्रालय को चालू वित्त वर्ष में 6.5 फीसदी की आर्थिक वृद्धि दर का भरोसा

देश, बिज़नेस
नई दिल्ली (New Delhi)। वित्त मंत्रालय (Finance Ministry) ने भरोसा जताया है कि चालू वित्त वर्ष 2023-24 (Current financial year 2023-24) में 6.5 फीसदी की आर्थिक वृद्धि दर (Economic growth rate of 6.5 percent) हासिल की जा सकती है। वित्त मंत्रालय को यह भरोसा कच्चे तेल की बढ़ती कीमतों (rising prices of crude oil) और मानसून की कमी के जोखिमों के बावजूद है। वित्त मंत्रालय ने शुक्रवार को जारी अगस्त महीने की मासिक आर्थिक समीक्षा में कहा कि देश चालू वित्त वर्ष 2023-24 में 6.5 फीसदी की आर्थिक वृद्धि दर हासिल कर लेगा। वित्त मंत्रालय ने रिपोर्ट में कहा कि कंपनियों की लाभप्रदता, निजी पूंजी निर्माण और बैंक ऋण वृद्धि में सुधार के कारण ये वृद्धि दर हासिल की जा सकती है। मंत्रालय की मासिक समीक्षा रिपोर्ट में कहा गया है कि भारत वित्त वर्ष 2022-23 की तरह मौजूदा वित्त वर्ष का सामना पूरे भरोसे के साथ करने क...
वित्त मंत्रालय ने ‘घरेलू बचत’ में कमी की आलोचनाओं को सिरे से खारिज किया

वित्त मंत्रालय ने ‘घरेलू बचत’ में कमी की आलोचनाओं को सिरे से खारिज किया

देश, बिज़नेस
नई दिल्ली (New Delhi)। वित्त मंत्रालय (Finance Ministry) ने घरेलू बचत (household savings) में गिरावट (decline) को लेकर हो रही आलोचनाओं को नकारते हुए कहा कि लोग अब दूसरे वित्तीय उत्पादों (other financial products) में निवेश (Investing ) कर रहे हैं, इसलिए ‘संकट’ जैसी कोई बात नहीं है। वित्त मंत्रालय ने गुरुवार को एक्स पोस्ट पर जारी एक बयान में घरेलू बचत में पिछले कई दशकों में आई सबसे बड़ी गिरावट और इसका अर्थव्यवस्था पर पड़ने वाले प्रभाव को लेकर हो रही आलोचनाओं को सिरे से खारिज कर दिया है। मंत्रालय ने कहा कि आंकड़ों से पता चलता है कि उपभोक्ताओं का रूझान अब विभिन्न वित्तीय उत्पादों की ओर है। इसी वजह से घरेलू बचत कम हुई है। वित्त मंत्रालय ने बताया कि जून, 2020 और मार्च 2023 के बीच घरेलू सकल वित्तीय परिसंपत्तियां 37.6 फीसदी बढ़ी। वहीं, घरेलू सकल वित्तीय देनदारी 42.6 फीसदी बढ़ी। इन दोनों के ...
वित्त मंत्रालय ने एलआईसी एजेंटों और कर्मचारियों के लिए कल्याणकारी उपायों को दी मंजूरी

वित्त मंत्रालय ने एलआईसी एजेंटों और कर्मचारियों के लिए कल्याणकारी उपायों को दी मंजूरी

देश, बिज़नेस
नई दिल्ली (New Delhi)। वित्त मंत्रालय ने सार्वजनिक क्षेत्र की बीमा कंपनी भारतीय जीवन बीमा निगम (एलआईसी) एजेंटों और कर्मचारियों के लिए कल्याणकारी उपायों को मंजूरी दे दी है। इन कल्याणकारी उपायों की घोषणा से 13 लाख से ज्यादा एजेंट और एक लाख से अधिक नियमित कर्मचारी लाभान्वित होंगे। वित्त मंत्रालय ने सोमवार को जारी बयान में बताया कि एलआईसी एजेंटों और कर्मचारियों के लाभ के लिए कई कल्याणकारी उपायों को मंजूरी दे दी गई है। मंत्रालय की ओर से जारी ये कल्याणकारी उपाय एलआईसी (एजेंट) विनियम, 2017 में संशोधन, ग्रेच्युटी सीमा में वृद्धि और पारिवारिक पेंशन की समान दर सहित अन्य से संबंधित हैं। एलआईसी एजेंटों और कर्मचारियों के लिए जारी कल्याणकारी उपायों में ग्रेच्युटी सीमा में वृद्धि, नवीनीकरण कमीशन की पात्रता, टर्म इंश्योरेंस कवर और एलआईसी एजेंटों और कर्मचारियों के लिए पारिवारिक पेंशन की एक समान दर शा...
Exports: वित्त मंत्रालय ने बुलाई निर्यातकों की बैठक

Exports: वित्त मंत्रालय ने बुलाई निर्यातकों की बैठक

देश, बिज़नेस
नई दिल्ली (New Delhi)। देश के निर्यात (country's exports) में पिछले चार महीनों में आई गिरावट (decline in four months) के बीच वित्त मंत्रालय (Finance Ministry) सोमवार को निर्यातकों के साथ बैठक (meeting with exporters) करेगा। मंत्रालय ने निर्यातकों की यह बैठक स्थिति का जायजा लेने के लिए बुलाई है। आधिकारिक सूत्रों ने रविवार को यह जानकारी दी। उम्मीद की जा रही है कि इस बैठक में निर्यातक सरकार से वैश्विक प्रदर्शनियों और मेलों में भाग लेने के लिए अधिक समर्थन देने के साथ ब्रिटेन, कनाडा, इजरायल और जीसीसी (खाड़ी सहयोग परिषद) के साथ मुक्त व्यापार समझौता (एफटीए) लागू करने और बातचीत में तेजी लाने के लिए कहेंगे। आंकड़ों के मुताबिक देश का निर्यात लगातार चौथे महीने सालाना आधार पर 10.3 फीसदी घटकर मई में 34.98 अरब डॉलर रह गया है, जबकि व्यापार घाटा बढ़कर पांच महीने के उच्चतम स्तर 22.12 अरब डॉलर पर पहुं...